Bollywood News: एनिमल में हिट सीन देने वाले बॉबी देओल ने खोले दिल के राज, बोले- स्टारडम बहका देता है.. – दैनिक जागरण (Dainik Jagran)

एंटरटेनमेंट डेस्क, नई दिल्ली। सफलता पाने के लिए मेहनत ही एक रास्ता हो सकता है। यह मानना है अभिनेता बाबी देओल का, जो इन दिनों एनिमल फिल्म में अपने पात्र को लेकर चर्चा में हैं। बाबी का मानना है कि जब वह अच्छी कहानियों की तलाश में थे, तो कहीं न कहीं उन्होंने मेहनत करनी बंद कर दी थी। हालांकि अब वह बहुत संभलकर अपनी कहानियां चुन रहे हैं। उनसे बातचीत के अंश।
1.हर तरफ आपके काम की चर्चा हो रही है। कह सकते हैं कि देओल परिवार के लिए साल 2023 खास रहा है?
-हां, ऐसा लग रहा है कि सपना देख रहा हूं। सिनेमा मेरे लिए हमेशा से जादुई दुनिया रही है। डिजिटल प्लेटफार्म की वजह से मुझे प्यार मिलना शुरू जरूर हुआ, लेकिन हर कलाकार बड़े पर्दे पर दिखने के लिए तड़पता है। मैं हमेशा से संदीप (निर्देशक संदीप रेड्डी वांगा) के साथ काम करना चाहता था। मेरा रोल केवल 15 दिनों का था। मुझे पता था कि मेहनत करूंगा, तो कमाल कर सकता हूं। यह साल हमारे लिए वाकई अच्छा रहा है। पापा (धर्मेंद्र) को उनकी फिल्म (राकी और रानी की प्रेम कहानी) के लिए इतना प्यार मिला। करण (सनी देओल के बड़े बेटे) की शादी के साथ साल शुरू हुआ था। भइया कहते हैं कि बहू नहीं बेटी घर आई है। हमारे राजवीर (सनी देओल के छोटे बेटे) की फिल्म (दोनों) चली नहीं, लेकिन पहली बार ऐसा हो रहा है कि हिंदी सिनेमा की तीनों पीढ़ियों की फिल्में एक ही साल में आई हैं।
2. आपकी स्टारडम को देखने का मौका आपके बच्चों को मिल रहा है। यह उन्हें दिखाना कितना अहम है?
-मुझे लगता है कि स्टारडम से ज्यादा फेलियर सिखाता है। मेरे फेलियर के दौरान मेरा बेटा और समझदार बना। वह जीवन की असलियत समझने लगा था कि सब कुछ आपके हिसाब से नहीं चल सकता है। मेहनत करना बहुत जरूरी है, उसने देखा कि उसके पिता ने मेहनत करना बंद कर दिया था। जब भइया और मैंने मेहनत करनी शुरू की, तो अब हमें प्यार मिल रहा है। मैंने भी पापा का संघर्ष देखा है। मेरे पापा जैसा लीजेंड कलाकार तो कोई हो ही नहीं सकता है, लेकिन उनका भी बुरा समय आया था। मैं जानता था कि असफलता का भी सामना कर पड़ सकता है। जब आपके साथ ऐसा होता है, तो उस पर कैसे नियंत्रण करना है यह पता होना जरूरी है। वही दौर आपको मजबूत बनाता है कि मैं हार नहीं मानूंगा। फेलियर से और ताकत मिलती है। स्टारडम तो बहका देती है। मेरे बच्चे जानते हैं कि स्टारडम से उनके पापा, बड़े पापा (सनी देओल) बहके थे।
3. अब इस दूसरी पारी की सफलता को बनाए रखने के लिए क्या आप संभलकर कदम बढ़ा रहे हैं?
-अब तो मैं और नर्वस हूं कि क्या फिल्म साइन करूं। मैं उस दौर से भी गुजरा हूं, जब मैं स्टार बन गया था और मैं गलत फिल्में साइन कर रहा था। मेरा करियर खराब हो गया था। गलत फिल्में साइन करने का डर हर कलाकार को रहता है। बतौर कलाकार मैं हर फिल्म में अच्छा ही परफार्म करना चाहता हूं, ताकि अगर फिल्म न भी चले, तो भी लोग मुझे काम दें। जब आपको बतौर कलाकार लोग अपनाते हैं, तो अभिनय की पारी लंबी होती है। प्रयास यही है कि अच्छी फिल्में चुनूं और लोगों को अंचभित करता रहूं।
4. तो क्या तमिल और तेलुगु फिल्मों का हिस्सा बनना उसी दिशा की ओर एक कदम है?
-हां, मैंने कभी नहीं सोचा था कि मैं दक्षिण भारतीय फिल्मों में काम करूंगा। अब भाषा की दिक्कत नहीं है। दक्षिण भारतीय फिल्में हिंदी और हिंदी फिल्में वहां की भाषा में डब हो रही हैं। हमारे देश में इतनी भाषाएं हैं। जहां मौके मिले वहां काम करना चाहिए।
5. आप और सनी देओल क्या साथ स्क्रीन साझा करने की तैयारी में हैं?
-हां, अगर स्क्रिप्ट अच्छी मिले, तो साथ काम करेंगे। अपने 2 फिल्म बनने वाली थी, लेकिन उसकी स्क्रिप्ट ठीक से बनी नहीं है। जब वह बन जाएगी, तो हम साथ काम करेंगे। पापा के साथ भी एक फिल्म करना चाहता हूं। इस वक्त स्क्रिप्ट बहुत मायने रखती है। हमने कई साल पहले यमला पगला दीवाना फिल्म बनाई थी। पहला पार्ट अच्छा बना था, लेकिन बाकी दो पार्ट बुरी बनी थी। बुरी फ्रेंचाइज फिल्मों पर आप भरोसा नहीं कर सकते हैं।
6. एनिमल के दूसरे पार्ट एनिमल पार्क क्या आपके पात्र के होने की कोई संभावना है?
-मैं भी वह सारे कमेंट्स पढ़ रहा हूं। मुझे तो एनिमल की पूरी कहानी भी पता नहीं थी। मुझे संदीप ने केवल मेरी कहानी सुनाई थी। जब मैंने फिल्म देखी, तो पता चला कि फिल्म में तो बहुत कुछ हो रहा है। लोग कितना कुछ सोच रहे हैं कि अगर फिल्म में रणबीर के पात्र का हार्ट ट्रांसप्लांट हो सकता है, तो मेरे पात्र का कटा हुआ गला भी ठीक हो सकता है। दर्शकों की डिमांड पर संदीप को मुझे वापस लाने के बारे में सोचना पड़ेगा।
7. आपके बेटे आर्यमन भी फिल्मों में आने की तैयारी में हैं? उन पर कैसा दबाव है?
-वो मेहनत कर रहे हैं। अभिनय में आने के लिए तीन-चार साल और लगेंगे। आजकल बच्चे पूरी तैयारी के साथ अभिनय में आ रहे हैं। ऐसे में उन्हें शुरू से ही सही चुनाव करना होगा। इस इंडस्ट्री में दूसरा मौका मिलना बहुत कठिन होता है। मैं जानता हूं कि मेरा बेटा बहुत मेहनती है।
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